नीमच में सक्रिय हुआ पोस्ता कारोबार से जुड़ा एक अन्य गिरोह..... सांठगांठ के रास्ते अंजाम तक पहुँच रहा विदेशी धरती पर उपजा पोस्ता...... यात्री बसों में हो रहा काले कारोबार का अवैध परिवहन..... नेक्सेस को बेपर्दा करने के लिए, प्रशासन को दिखानी होगी सख्ती......
नीमच//प्रतिबंध के बावजूद पड़ोसी मुल्कों से अवैध रूप से आयात किया जा रहा पोस्तादाना सरकार की लचर व्यवस्थाओं को बंया करने के साथ ही भृष्ट तंत्र की हकीकत को भी सामने ला रहा है,,,जहाँ देश की सुरक्षा और सख्त कानून का खुला मख़ौल साफ तौर पर उड़ता नजर आ रहा है, हैरान कर देने वाली बात तो यह है, की हजारों किलोमीटर का सफर तय कर परिवहन किया जाने वाला प्रतिबंधित पोस्ता बगैर किसी जांच पड़ताल के अपने गतंव्य तक पहुँच रहा है...वही दो नम्बरी पोस्ता कारोबारियों की यह अवैध गतिविधि न सिर्फ देश के कानून की धज्जियां उड़ा रही है, बल्कि मालवा के मेहनत कश अफीम किसानों का हक भी मार रही है...!
काले कारोबार की इस कोठरी में दो नम्बरी पोस्ता कारोबारियों के साथ उन ट्रांसपोर्ट संचालको और निजी यात्री बस संचालको की संलिप्ता भी बराबर है, जो देश के कानून के साथ खेलते हुए, पड़ोसी मुल्क का प्रतिबंधित पोस्ता देश की धरती पर उतारने कृत्य कर रहे है...!
बात करें प्रतिबंधित पोस्ता कारोबार से जुड़े अवैध कारोबारियों की तो मध्यप्रदेश के नीमच जिले में इसका एक बड़ा गिरोह सक्रिय है, जो "कस्टम"अधिकारियों से "सांठगांठ" कर बर्मा से इम्फाल और दिल्ली होकर नीमच में इसकी बड़ी खेप स्थानीय पोस्ता कारोबारियों के ठिकानों तक पहुँचाने का काम रहा है,,,और चोरी छिपे विदेशी धरती पर उपजा पोस्ता नीमच की धरती तक पहुँचाने का काम निजी ट्रेवल्स संचालको के जिम्मे है,,,जो यात्री बसों की आड़ में एक ट्रांसपोर्टर की भूमिका अदा कर रहे है,,,जिनमें बालाजी और गायत्री ट्रेवल्स की संलिप्ता सबसे अधिक सामने आई है...?
एक और नीमच के पोस्ता कारोबारियों की कारगुजारी मादक पदार्थो के साथ देश के कई इलाकों में नशे के कारोबार को बढ़ावा दे रही है, तो वहीं पोस्ता कारोबार से जुड़ा एक अन्य गिरोह पड़ोसी मुल्क से अवैध पोस्ता परिवहन कर कानून का मुंह चिड़ा रहा है...ऐसे में अवैध कारोबार से जुड़े इस नेक्सेस से पर्दा उठाने के लिए प्रशासन यदि एक योजना के तहत कार्यवाही को अंजाम देते हुए, दिल्ली आने जाने वाली यात्री बसों की सजगता के साथ पड़ताल करे तो पोस्ता के अवैध कारोबार सहित अन्य कृषि उपज के अवैध परिवहन का पर्दाफाश भी हो सकता है...?