डीआइजी के रूप में आईपीएस मनोज कुमार सिंह की आमद....कुख्यात होकर विख्यात हुए, "राणा" के पैरों तले सरकी जमीन....थर्रा उठी तस्कर गेंग, अवैध कारोबार के खिलाफ जल्द हो सकता है, कड़ा प्रहार...जीरन थाना क्षेत्र में राणा का विचरण स्थानीय पुलिस की सक्रियता पर उठे सवाल...?
नीमच//अफीम और डोडाचूरा की तस्करी का मोस्ट वांटेड कुख्यात तस्कर "कमल राणा" मादक पदार्थों के काले कारोबार में अपना दबदबा कायम रखते हुए, दोबारा पुलिस के लिए चुनोती बनकर खड़ा है, और गुर्गों के सहारे पूरी तैयारी के साथ अंचल में काले सोने की तस्करी का जाल बिछा चुका है, बताया जा रहा है, की अपने अवैध कारोबार को अंजाम देने के लिए राणा का सबसे महफूज इलाका माना जाने वाले जीरन थाना क्षेत्र में "राणा" की सक्रियता की खबरे भी सामने आई है, इधर कुख्यात तस्कर की गतिविधियों पर निगरानी और तस्करी के काले कारोबार पर स्थानीय पुलिस की मुस्तैदी और भूमिका पर उठने सवाल अब भी सवाल बनकर ही खड़े है...जहाँ जीरन थाने में पुलिस अधिकारियों की अदला बदली भले ही होती रही लेकिन खांकि का तेवर राणा के काले कारोबार पर रत्ती भर भी अंकुश नही लगा सका...लिहाजा मध्यप्रदेश और राजस्थान का यह मोस्ट वांटेड कुख्यात तस्कर राणा अपने वफादार और चुनिंदा गुर्गों के साथ मिलकर एक बार फिर क्षेत्र में काले कारोबार के जरिए अपनी मौजूदगी दर्ज करा चुका है...
हालांकि तस्करी के कारोबार में राणा की सक्रियता और उसकी इस शातिराना चाल पर पुलिस के आला अधिकारीयों की गंभीरता भी सामने आई है, जिसके बाद अंचल के इस कुख्यात तस्कर के खिलाफ जल्द ही बड़ी कार्यवाही को अंजाम दिया जा सकता है,,,,बतादें की रतलाम रेंज के डीआईजी के रूप मे आईपीएस मनोज कुमार सिंह के पदस्थ होने बाद राणा गैंग थर्रा उठी है, ज्ञात रहे कि नीमच एसपी रहते मनोज कुमार सिंह के कुशल मार्गदर्शन में केंट पुलिस टीम ने कुख्यात तस्कर राणा और उसकी गेंग के सदस्यों को राजस्थान के रणथम्बोर से गिरफ्तार किया था...जिसे बाद में राजस्थान की चित्तोड़गढ़ जिले की पुलिस को सौंपा गया, और यहाँ एक लंबा वक्त सलाखों के पीछे गुजारने के बाद राणा नीमच जिले के जीरन थाना क्षेत्र में दोबारा सक्रिय हुआ, जहाँ अपने गुर्गों के जरिए तस्करी के अवैध कारोबार की जड़े राणा ने एक बार फिर जमा ली है...
इस दौरान मंदसौर जिले के नारायणगढ़ थाना क्षेत्र में एनडीपीएस के मामले में भी राणा फरार है, लेकिन हैरान कर देने वाली बात तो यह है, की नशे के कारोबार को अंजाम देने के लिए मोस्ट वांटेड कुख्यात तस्कर राणा का विचरण नीमच जिले के जीरन थाना क्षेत्र सहित मंदसौर और रतलाम जिले के अफीम उत्पादक क्षेत्रों में लगातार होता रहा...लेकिन गुस्ताखी कार्यवाही की यहाँ 'राणा जी" के खिलाफ अब तक कोई कर नही सका...? ऐसे में कयास लगाए जा रहे है कि रतलाम रेंज के डीआईजी के रूप में आईपीएस मनोज कुमार सिंह की आमद के बाद से ही राणा गेंग थर्रा उठी है, और क्षेत्र में राणा की सरपरस्ती में पनप रहे नशे के अवैध कारोबार के खिलाफ जल्द ही कड़ा एक्शन लिया जा सकता है...!